किसान संवाद कार्यक्रम में केशव ने कृषि नीति पर प्रकाश डाला

 


वेबवार्ता(न्यूज़ एजेंसी)/अजय कुमार वर्मा  

लखनऊ/वाराणसी 15 दिसम्बर। उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने नई कृषि नीति को किसानों के हित मे होने की जानकारी देते हुए इससे किसान को होने वाले फायदो के बारे मे  विस्तार  से प्रकाश  डाला। उपमुख्यमंत्री मंगलवार को वाराणसी के जंसा स्थित निजी स्कूल के प्रांगण में आयोजित किसान संवाद कार्यक्रम  को सम्बन्धित कर रहे थे।

         उप मुख्यमंत्री मौर्य ने  कहा कि नई कृषि नीति से किसान अपने उत्पादों को देश के किसी बाजार में भेज सकता है। सरकार के स्तर पर ऐसी व्यवस्था की जा रही है। जिसमें किसानों को अंतर्राष्ट्रीय बाजार भी उपलब्ध हो रहे हैं। यदि नई कृषि नीति को लेकर किसानों को कोई आशंका है तो वार्ता के लिए सरकार के दरवाजे खुले हैं। किसान सुझाव दें ताकि उचित होने पर सरकार उसे स्वीकार करते हुए कृषि बिल में संशोधन कर सके।  कृषि बिल में यह स्पष्ट है कि सरकारी तौर पर होने वाली खरीद बंद नहीं की जाएगी। न्यूनतम समर्थन मूल्य पर किसानों के उत्पादों की खरीद होगी। इसके साथ ही मंडियों का भी संचालन होगा।कृषि बिल में किसानों को यह सुविधा दी जा रही है कि वह अपने उत्पाद मंडी में भी बेंच सकता है और अपने खेत में भी जहां उसे उचित मूल्य मिले वहां अपने उत्पाद बेचे यह किसानों के हित में है। व्यापारी, कोई नौकरी पेशा वाला अपना जीवन बेहतर कर लेता है उसी प्रकार किसान भी अपने जीवन को बेहतर कर सकेगा। अब किसान का बेटा किसान बनने में गौरव महसूस करेगा। अपनी सारी जरूरतों को कृषि उत्पादों  का बिक्री कर अपनी जरूरतों को पूरा करने में सक्षम होगा।

      उन्होंने किसानों से अनुरोध करते हुए कहा कि किसान  बहकावे में न आए। उन्होंने कहा कि कृषि बिल   पूरे देश के लिए है ।देश के किसी भी राज्य में रहने वाले किसानों के हितों से जुड़ा है। 

श्री मौर्य ने कहा कि नए कृषि कानूनों की ताकत  किसान  समझे।किसी के भ्रम जाल में फंसने के बजाय किसान अपनी दोगुनी आमदनी करने और खेती को लाभदायक बनाने की मुहिम में प्रधानमंत्री मोदी का साथ दें। आगे कहा कि प्रदर्शनकारी किसान भी हमारे अपने हैं उनके लिए हमेशा हमारे द्वार खुले हैं। केंद्र सरकार ने उनसे कई दौर की वार्ता भी की है हम उनके सभी संदेह दूर करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। किसान भाई याद रखें कि प्रधानमंत्री मोदी कभी भी उनका अहित नहीं होने देंगे ।मैं भी एक किसान हूं, इसलिए दावे के साथ कहता हूं कि यह तीनों  कानून किसानों के हित में हैं। उन्होंने कहा कि सरकार  ने किसानों के हित में बहुप्रतीक्षित सुधारों को  मूर्तरूप दिया। मंडियों की व्यवस्था में और सुधार कर रहे हैं। मंडिया तो कायम रहेंगी ही वहीं निजी मंडी और निजी व्यापारियों के आने से किसानों के लिए विकल्प बढ़ेंगे। उन्होंने कहा कि उद्यमी और किसान के बीच सौदा भी आपसी सहमति से ही होगा। व्यापारी किसी भी प्रकार से किसान पर दबाव नहीं बना सकता है ।नये कानूनों से पूरी व्यवस्था और प्रतिस्पर्धी होगी ।नए कानूनों से कृषि में निवेश बढ़ेगा।किसान नई तकनीकों से जुड़ेंगे ।भंडारण व्यवस्था सुदृढ़ होगी ।उपज की बर्बादी नहीं होगी,खेती किसानी में नई जान आएगी। 

  कृषि इतिहास में क्रांतिकारी बदलाव होगा । हम किसानों को सशक्त और समृद्ध बनाना चाहते हैं।मोदी जी के आत्म निर्भर भारत में किसान भी आत्मनिर्भर बनेगा।उन्नति के नए द्वार खुलेंगे।